एनआईए का आठ ठिकानों पर छापा डॉक्टर शाहीन के घरवालों से पूछताछ
दिल्ली धमाका : सफेदपोश आंतकी मॉड्यूल पर प्रहार, दस्तावेज व इलेक्ट्रॉनिक उपकरण बरामद
लखनऊ। जैश-ए-मोहम्मद के फरीदाबाद माड्यूल और दिल्ली बम धमाके की जाँच कर रही राष्ट्रीय जांच एजेन्सी (एनआईए) ने सोमवार को यूपी और जम्मू-कश्मीर में संदिग्धों के आठ ठिकानों पर छापा मारा। लखनऊ के कंधारी बाजार स्थित डॉ॰ शाहीन का घर खंगाला। शाहीन के पिता और भाई शोएब से करीब 5 घन्टे तक पूछताछ की और कुछ दस्तावेज व इलेक्ट्रानिक गैजेटस बरामद किये।
एनआईए ने फरीदाबाद माड्यूल से जुड़े चार आरोपियों को दस दिन की कस्टडी रिमांड पर लेकर पूछताछ की थी। इन सभी को बीते शनिवार दिल्ली में अदालत के सामने पेश कर दिमांड अवधि बढ़ाने का अनुरोध किया गया था। अदालत द्वारा चारों की रिमांड अवधि 10 दिन और बढ़ाने के बाद सोमवार को देशभर में आरोपियोें और उनके करीबियों के आठ ठिकानों पर एनआई ने छापा मारकर अहम सुबूत जुटाये।
इसी कड़ी में एनआईए की टीम सुबह 9 बजे से दोपहर 2 बजे तक डॉ॰ शाहीन के घर पर छानबीन और पूछताछ करती रही। सूत्रों की माने तो डॉ॰ शाहीन के पिता और भाई से उसकी गतिविधियों, करीबियों, बैंक खातों, पासपोर्ट आदि के बारे में सवाल किये गये। डॉ॰ शाहीन से बीते दिनों हुए सम्पर्क और बातचीत के बारे में भी पूछा गया।
गिरफ्तार आरोपियों से जुड़े जम्मू-कश्मीर के ठिकानों की तलाशी
नई दिल्ली। एनआईए की टीमों ने तड़के जम्मू-कश्मीर के शोपियां जिले में दबिश दी। यहाँ मौलवी इरफान अहमद वागे के घर पर तलाशी ली। वागे सफेदपोश टेरर मॉड्यूल के कट्टरपंथी विचारधारा के प्रचार और युवाओं की भर्ती का मास्टरमाइंड है। जम्मू-कश्मीर पुलिस ने उसे अक्टूबर में गिरफ्तार किया था। अधिकारियों ने बताया कि पुलवामा के कोइल, चंदगाम, मलंगपोरा और संबूरा इलाकों में भी छापे मारे। एनआईए ने डॉ॰ आदिल अहमद राथर के घर की भी तलाशी ली।
डॉ॰ आदिल को नम्वबर के पहले हफ्ते में उत्तर प्रदेश के सहारनपुर से गिरफ्तार किया गया था। मामले के एक आरोपी डॉ॰ मुजम्मिल से जुड़े तीन ठिकानों को भी खंगाला गया। सूत्रों ने बताया कि टीमों ने सबसे पहले पुलवामा के कोइल गाँव में उसके घर की तलाशी ली। चंदगाम गाँव में उसके बहनोई फैजान अहमद सोफी के घर और मलंगपोरा में उनके चचरे भाई आमिर अहमद राथर के घर पर छापे मारे गये।
एनआईए ने स्थानीय पुलिस के साथ कई घंटों तक सर्च ऑपरेशन चलाया। इस दौरान इलाकों को सील कर दिया। स्थानीय लोगों ने बताया कि सर्च के दौरान घरों के आसपास आने-जाने पर रोक लगा दी गयी। टीमों ने मोबाइल फोन, अन्य डिजिटल उपकरण, नोटबुक और कई दस्तावेज जब्त किये हैं। हालाँकि कोई गिरफ्तार नहीं हुई है।
चैरिटी की आड़ में आईएसआई ने नेपाल में खड़ा कर दिया डॉक्टरों का नेटवर्क
लखनऊ। चैरिटी के नाम पर पाकिस्तान खुफिया एजेंसी आईएसआई ने नेपाल में फिर सक्रियता बढ़ाई है। उद्देश्य भारत पर दोतरफा नजर रखने के साथ ही सीमावर्ती क्षेत्रों की खुफिया जानकारी जुटाना है। सूत्रों के अनुसार इनमें सबसे संवेदनशील गोरखपुर और लखनऊ बताया जा रहा है। उत्तराखंड के पिथौरागढ़़ पर भी नजर है। दिल्ली धमाके की कड़ियां तुर्किए और फिर नेपाल से जुड़ने के बाद सुरक्षा एजेंसियों की सख्ती से सीमावर्ती जिलों के पाँच संदिग्ध डॉक्टरों पर कार्यवाही हुई है। अभी एक विदेश भाग गया है।
नवम्बर में केन्द्रिय गृह मंत्रालय को भेजी गयी आईबी की रिपोर्ट में भी सीमावर्ती जिलों में चैरिटी के नाम पर चल रहे खेल का जिक्र है। 15 नम्वबर को बहराइच से पकड़े गये दो संदिग्ध ब्रिटिश नागरिक भी चैरिटी के लिए ही नेपाल पहुंचे थे। इनमंे पाकिस्तान मूल के हस्सन अमान सलीम की पत्नी बांग्लादेश की है। वह भी पति के साथ पहले नेपाल जा चुकी है।
इनसे पहले पाकिस्तानी सेना का पूर्व लेफ्टिनेट कर्नल हबीब भी चैरिटी के नाम पर भारत से सटे लुुुंबिनी क्षेत्र में सक्रिय रहा। सुरक्षा एजेंसियों के अनुसार चैरिटी, मेडिकल कैम्प, रिसर्च व सेमिनार के नाम पर पाकिस्तानियों की आवाजाही बढ़ी है। नेपाल सीमा पर काम कर चुके आईबी के पूर्व अधिकारी संतोाष सिंह बताते है कि यह गतिवधि सिर्फ मानवीय सेवा तक सीमित नहीं है। इसके माध्यम से भारत पर दोतरफा नजर रखने, सीमावर्ती क्षेत्रों की सूचनाएं जुटाने ओर नेटवर्क तैयार करने की आंशका है।


